फुले संगम केडीएस 726 यह किस्म 2016 में महात्मा फुले कृषि विश्वविद्यालय महाराष्ट्र द्वारा अनुशंसित सोयाबीन की किस्म है। फुले संगम केडीएस 726 की अगर बात करे तो इसका पौधा अन्य पौधे के मुकाबले ज्यादा बड़ा और मजबूत है। 3 दानो की फली है इसमें 350 तक के फलिया लगती है और इसकी विशेषता की बात करे तो इसका दाना काफी मोटा है, जिसके कारण इससे उत्पादन में डबल फायदा होगा। यह किस महाराष्ट्र और दक्षिण भारत में अधिकतर लगाई जाती है।
Read also – टमाटर की खेती पॉलीहाउस में करे?
रोगप्रतिरोधक:-
इस किस्म को (Rust) तांबरा रोग के लिए कम संवेदनशील किस्म के रूप में अनुशंसित किया जाता है, यह किस्म लीफ स्पॉट और स्कैब के लिए भी अपेक्षाकृत प्रतिरोधी है। पांच राज्यों महाराष्ट्र, कर्नाटक, तमिलनाडु, तेलंगाना और आंध्र प्रदेश में इस किस्म की खेती के लिए सिफारिश। पत्ती खाने वाले लार्वा के प्रति कुछ हद तक सहिष्णु, लेकिन तांबरा रोग के लिए मध्यम प्रतिरोधी
पकाव अवधि :-
और इसकी परिपक्वता अवधि 100 से 105 दिनों की होती है।
Read also – PM-KUSUM Yojana 2022 आवेदन कैसे करे?
उत्पादन:-
इस किस्म की उत्पादन 35-45 क्विंटल प्रति हेक्टेयर और फुले संगम केडीएस 726 की हाईटेक तरीके से खेती करने पर 40 क्विंटल प्रति हेक्टेयर उपज देखी गई है। इस किस्म की तेल उपज 18.42 प्रतिशत है।
फुले संगम केडीएस 726 वैरायटी के बारे में अधिक जानकारी के लिए यह विडियो देखें
बहुत सारे किसान भूमंडलम कंपनी की सोयाबीन लेने के लिए अनेक राज्यो के किसान महाराष्ट्र में खरीद ने जा रहे है। और आपको ये बीज मंगवाना हो तो पोस्ट से भी आप मंगवा सकते है। और अगर इस कंपनी से अगर सीड्स लेते है तो साथ ही कंपनी आपको बुवाई से लेकर कटाई तक इनफार्मेशन ले सकते है।
कृपया जिन किसान भाइयों को kds 726 का बीज चाहीये उनसे निवेदन हैं की कृपया 9834050594 8530978413 व्हाट्सप्प क्रमांक पर अपना नाम और पता भेज दिजीए। आपको व्हाट्सअप्प पर जानकारी दे दि जायेगी।
Read also – सफेद लट का नियंत्रण खरीफ की फसलों में